जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती की बेटी इल्तिजा ने कहा कि अनुच्छेद 370 खत्म हुए 7 महीने बीत चुके हैं, तब से हम आर्थिक, मनोवैज्ञानिक और भावनात्मक संकट के दौरे से गुजर रहे हैं। इल्तिजा ने मंगलवार को बुलाई प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि अनुच्छेद 370 से कश्मीर बाकी भारत से भावनात्मक रूप से जुड़ा हुआ था। इस विशेष स्थिति को हटाए जाने की हमें एक बड़ी कीमत चुकानी पड़ी।
‘मैं भी एक कश्मीरी हूं’
इल्तिजा ने कहा, ‘‘मैं केवल महबूबा मुफ्ती की बेटी के तौर पर बात नहीं कर रही, बल्कि मैं भी एक दुखी कश्मीरी हूं। हम सभी जानते हैं कि अनुच्छेद 370 हटाने के बाद क्या हुआ। अनुच्छेद को खत्म किए जाने की जम्मू-कश्मीर को बड़ी कीमत चुकानी पड़ी। हम आर्थिक संकट से गुजर रहे हैं।’’
मोदी सरकार पर आरोप लगाते हुए इल्तिजा ने कहा, ‘‘मुझे यही लगता है कि केंद्र सरकार प्रोपेगैंडा और गलत सूचनाएं फैला रही है। देश के लोगों और विदेशी राजनयिकों ने यहां आकर कहा कि सभी को यहां समान अधिकार हैं, लेकिन सच्चाई इससे उलट है। लोगों को यहां इंटरनेट (वर्चुअल प्राइवेट नेटवर्क-वीपीएन) इस्तेमाल करने की आजादी नहीं है। मैं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का बहुत सम्मान करती हूं, लेकिन इस बात का बहुत दुख है कि या तो उन्हें सच की जानकारी नहीं है या फिर वे देश को गुमराह कर रहे हैं।’’
‘आदेश न मानने पर पुलिस कार्रवाई कर रही’
इल्तिजा के मुताबिक, ‘‘वीपीएन के जरिए सोशल मीडिया से जुड़ने पर केस दर्ज किए जा रहे हैं। मैं कश्मीर जाऊंगी और वीपीएन का इस्तेमाल करूंगी। वे (पुलिस) चाहें तो मेरे खिलाफ भी एफआईआर दर्ज कर सकते हैं। 1989 में घाटी में कश्मीरी पंडितों के साथ जो हुआ, वह गलत था, मैं उसके लिए माफी मांगती हूं। कश्मीरी पंडित और कश्मीरी मुसलमानों के बीच कोई भेद नहीं है।’’ 1989 में कश्मीरी पंडितों को हिंसा के चलते घाटी छोड़नी पड़ी थी।